मुंबई, 8 अक्तूबर : बंबई उच्च न्यायालय ने बुधवार को कहा कि वह अभिनेत्री शिल्पा शेट्टी और उनके पति की विदेश यात्रा की अनुमति संबंधी अर्जी पर तभी विचार करेगा जब वे 60 करोड़ रुपये (जो उनके खिलाफ धोखाधड़ी के मामले में शामिल राशि है) जमा करा देंगे। शेट्टी और उनके पति राज कुंद्रा के खिलाफ 14 अगस्त को मुंबई के जुहू पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया था, जिसमें उन पर व्यवसायी दीपक कोठारी (60) से ऋण-सह-निवेश सौदे में लगभग 60 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी करने का आरोप लगाया गया था।
राशि का इस्तेमाल अपने निजी लाभ के लिए किया
दम्पति ने पिछले महीने उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर कर मामले में पुलिस द्वारा उनके खिलाफ जारी लुकआउट सर्कुलर (एलओसी) को निलंबित करने की मांग की थी, ताकि वे अपने पेशेवर काम और अवकाश के लिए विदेश यात्रा कर सकें।
कोठारी ने दंपति के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें आरोप लगाया गया था कि 2015 से 2023 के बीच उन्होंने उन्हें अपनी कंपनी बेस्ट डील टीवी प्राइवेट लिमिटेड में 60 करोड़ रुपये निवेश करने के लिए प्रेरित किया, लेकिन इस राशि का इस्तेमाल अपने निजी लाभ के लिए किया गया।
सहयोग के कारण ही उन्हें गिरफ्तार नहीं किया गया
मुख्य न्यायाधीश श्री चंद्रशेखर और न्यायमूर्ति गौतम अंखर की पीठ ने बुधवार को कहा कि जब दोनों धोखाधड़ी और जालसाजी के मामले में आरोपी हैं, तो वे उन्हें अवकाश यात्राओं की अनुमति नहीं दे सकते। दंपति के वकील ने अदालत को बताया कि फुकेत की केवल एक यात्रा अवकाश के लिए थी, लेकिन बाकी सभी यात्राएँ पेशेवर काम के लिए थीं। वकील ने आगे कहा कि दंपति ने जाँच में सहयोग किया है और पूछताछ के लिए भी उपस्थित हुए हैं। तब उच्च न्यायालय ने कहा कि उनके सहयोग के कारण ही उन्हें गिरफ्तार नहीं किया गया है।
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