श्री आनंदपुर साहिब, 25 नवंबर : श्री आनंदपुर साहिब स्थित बाबा बुड्ढा दल छावनी के मुख्य पंडाल में आज नौवें सिख गुरु, श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर ऐतिहासिक सरब-धर्म सम्मेलन का आयोजन किया गया। सिख, हिंदू, बौद्ध, जैन, ईसाई, इस्लाम और यहूदी धर्म के प्रमुख आध्यात्मिक और धार्मिक नेता इस मौके पर एकत्र हुए और गुरु साहिब की अद्वितीय शहादत को नमन किया। सम्मेलन के दौरान पूरा माहौल श्रद्धामय रहा। सभी धर्मों के प्रतिनिधियों ने गुरु तेग बहादुर साहिब को ‘धर्म के रक्षक’ और ‘सत्य के पुंज’ के रूप में याद किया और मानवता के प्रति उनके योगदान को रेखांकित किया।
मंत्रियों और सिख नेताओं ने जताई श्रद्धांजलि
पंजाब के शिक्षा मंत्री स. हरजोत सिंह बैंस और पर्यटन एवं सांस्कृतिक मामलों के मंत्री स. तरुणप्रीत सिंह सौंद ने उपस्थित आध्यात्मिक नेताओं का स्वागत किया। शिरोमणि पंथ अकाली बुड्ढा दल के जत्थेदार बाबा बलबीर सिंह, दमदमी टकसाल के मुखी बाबा हरनाम सिंह खालसा, बाबा सेवा सिंह रामपुर खेड़े वाले सहित कई सिख नेताओं ने “नाम जपो, वंड छको” के संदेश के साथ प्रेम, सद्भावना और मानवता का संदेश दिया।
अन्य धर्मों के प्रतिनिधियों की भागीदारी
राधा स्वामी सत्संग ब्यास के मुखी बाबा गुरिंदर सिंह ढिल्लों, नानकसर संप्रदाय के बाबा घाला सिंह और बाबा कश्मीर सिंह भूरीवाले ने गुरु साहिब की शहादत को मानवता के लिए मार्गदर्शक बताया। नई दिल्ली के जूडा हयाम सिनागॉग के प्रमुख डॉ. रब्बी एजेकाइल इसहाक मालेकर ने पंजाब सरकार की पहल की सराहना की। बौद्ध समाज के श्री भिक्खु संघसेना जी ने सिख समुदाय की कोविड-19 काल में की गई निस्वार्थ सेवा को याद किया और सरकार से सिख धर्म की शिक्षाओं को पाठ्यक्रम में शामिल करने की अपील की।
सम्मेलन का समापन और संदेश
कार्यक्रम का समापन इस संकल्प के साथ हुआ कि गुरु तेग बहादुर साहिब जी की शहादत मानवता को अन्याय के विरुद्ध खड़े होने, स्वाभिमान की रक्षा करने और धार्मिक स्वतंत्रता को संरक्षित रखने की प्रेरणा देती रहेगी। यह ऐतिहासिक एकत्रीकरण सामूहिक विश्वास और विश्व शांति के प्रति प्रतिबद्धता का सशक्त प्रतीक बना।
यह भी देखें : ड्रोन शो के द्वारा पंजाब सरकार ने श्री गुरु तेग बहादुर जी को किया नमन

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