श्रीहरिकोटा, 24 दिसम्बर : भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने आज एक और ऐतिहासिक उपलब्धि अपने नाम की। इसरो के सबसे भारी रॉकेट LVM3-M6 ने अमेरिकी कंपनी AST स्पेसमोबाइल के संचार उपग्रह ‘ब्लूबर्ड ब्लॉक-2’ को सफलतापूर्वक लो अर्थ ऑर्बिट (LEO) में स्थापित कर दिया। 43.5 मीटर ऊंचे LVM3 रॉकेट ने श्रीहरिकोटा के दूसरे लॉन्च पैड से सुबह 8:54 बजे उड़ान भरी। करीब 15 मिनट की उड़ान के बाद रॉकेट ने 6,100 किलोग्राम वजनी उपग्रह को तय कक्षा में सफलतापूर्वक पहुंचा दिया।
अब तक का सबसे भारी पेलोड
यह उपग्रह भारत की धरती से LVM3 रॉकेट के जरिए लॉन्च किया गया अब तक का सबसे भारी पेलोड है। इस सफल मिशन ने इसरो की भारी प्रक्षेपण क्षमता को वैश्विक स्तर पर एक बार फिर साबित कर दिया है। यह मिशन न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड (NSIL) के व्यावसायिक करार के तहत किया गया। इससे भारत की अंतरराष्ट्रीय वाणिज्यिक लॉन्च सेवाओं में मजबूत मौजूदगी और भरोसा और बढ़ा है।
सीधे स्मार्टफोन पर 4G-5G सेवाएं
‘ब्लूबर्ड ब्लॉक-2’ उपग्रह को इस तरह डिजाइन किया गया है कि यह सीधे स्मार्टफोन पर हाई-स्पीड सेल्युलर ब्रॉडबैंड सेवाएं प्रदान करेगा। इसके जरिए 4G और 5G वॉयस कॉल, वीडियो कॉल और डेटा सेवाएं उपलब्ध कराई जा सकेंगी। इस सफल प्रक्षेपण के साथ ही LVM3 रॉकेट ने चंद्रयान-2 और चंद्रयान-3 समेत लगातार आठ सफल मिशनों का अपना शानदार रिकॉर्ड कायम रखा है।
भारत की अंतरिक्ष शक्ति को वैश्विक पहचान
इस मिशन ने न केवल इसरो की तकनीकी क्षमता को दर्शाया है, बल्कि भारत को वैश्विक अंतरिक्ष बाजार में एक भरोसेमंद और सशक्त लॉन्च सेवा प्रदाता के रूप में और मजबूत किया है।
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