नई दिल्ली, 11 अगस्त : OPS vs NPS news: राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) के तहत आने वाले केंद्रीय कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) बहाल करने का केंद्र सरकार के पास कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में कहा कि पुरानी पेंशन योजना सरकारी खजाने पर बोझ बन रही थी, इसलिए एनपीएस शुरू की गई थी, जो 1 जनवरी 2004 को या उसके बाद नौकरी में शामिल हुए केंद्रीय कर्मचारियों (सशस्त्र बलों को छोड़कर) के लिए है। एनपीएस में सुधार के लिए एक समिति बनाई गई थी, जिसके सुझावों के आधार पर एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) शुरू की गई है। यह एनपीएस का एक विकल्प है, जिसका उद्देश्य कर्मचारियों को सेवानिवृत्ति के बाद एक स्थिर पेंशन प्रदान करना और योजना को वित्तीय रूप से टिकाऊ बनाए रखना है।
यूपीएस में परिवार की परिभाषा इस तरह से तैयार की गई है कि कर्मचारियों को एक गारंटीकृत पेंशन मिले और फंड की स्थिरता भी बनी रहे। यूपीएस का विकल्प चुनने वाले कर्मचारी सेवा के दौरान मृत्यु या विकलांगता के कारण सेवा छोड़ने की स्थिति में सीसीएस (पेंशन) नियम, 2021 या सीसीएस (अतिरिक्त सामान्य पेंशन) नियम, 2023 के तहत लाभ प्राप्त कर सकते हैं। सरकार ने 24 जनवरी, 2025 को एक अधिसूचना जारी करके यूपीएस को एनपीएस के तहत एक विकल्प के रूप में पेश किया था।यूपीएस के तहत, अगर कर्मचारी ने कम से कम 25 साल तक सेवा की है, तो सेवानिवृत्ति पर उसे पिछले 12 महीनों के औसत मूल वेतन का 50% पेंशन के रूप में मिलेगा। अगर सेवा की अवधि 25 साल से कम है, तो पेंशन उसी अनुपात में कम हो जाएगी।
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