ठाणे, 10 जुलाई : महाराष्ट्र के ठाणे जिले के शाहपुर स्थित एक निजी स्कूल के प्रधानाचार्य और चार शिक्षकों समेत आठ लोगों के खिलाफ पांचवीं से दसवीं कक्षा की छात्राओं को मासिक धर्म की जांच के लिए कपड़े उतारने के लिए मजबूर करने का मामला दर्ज किया गया है। उन्होंने बताया कि यह घटना मंगलवार को शहर के आरएस दमानी स्कूल में हुई, जहां शौचालय में खून के धब्बे पाए गए।
अभिभावकों ने किया रोष प्रर्दशन
इस घटना से छात्राओं के अभिभावकों में गुस्सा भडक़ गया और उन्होंने बुधवार को स्कूल परिसर में विरोध प्रदर्शन किया तथा घटना में शामिल प्रबंधन और शिक्षकों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की। एक छात्रा के माता-पिता द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के अनुसार, कक्षा 5 से 10 तक की छात्राओं को स्कूल के सभागार में बुलाया गया और प्रोजेक्टर के जरिए शौचालय और फर्श पर खून के धब्बों की तस्वीरें दिखाई गईं और पूछा गया कि क्या उनमें से कोई मासिक धर्म से गुजर रही है।
इसके बाद इन लड़कियों को दो समूहों में बांट दिया गया। जिन लड़कियों ने कहा कि वे मासिक धर्म से गुजर रही हैं, उन्हें शिक्षकों को अपने अंगूठे के निशान देने के लिए कहा गया, लेकिन जिन लड़कियों ने कहा कि वे मासिक धर्म से नहीं गुजर रही हैं, उन्हें एक महिला नर्स द्वारा एक-एक करके शौचालय में ले जाया गया और उनके निजी अंगों की जांच की गई।
प्रिंसीपल सहित 8 लोगों पर केस दर्ज
पुलिस ने बताया कि शिकायत के आधार पर स्कूल के प्रिंसिपल, चार शिक्षकों, एक नर्स और दो ट्रस्टियों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (ठाणे ग्रामीण) राहुल जालटे ने बताया कि पुलिस पूरी घटना की जांच कर रही है। उन्होंने बताया कि भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की संबंधित धाराओं के तहत 8 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। शाहपुर थाने के वरिष्ठ निरीक्षक मुकेश धागे ने बताया कि इस संबंध में अभी तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है।
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