चंडीगढ़, 12 अगस्त : आम आदमी पार्टी की पंजाब सरकार हमेशा से ही किसानों की सरकार रही है, जिसने शुरू से ही किसानों के हितों को प्राथमिकता दी है। चाहे किसानों की कर्ज माफी हो, फसलों के बेहतर दामों की लड़ाई हो, सिंचाई सुविधाओं का विस्तार हो या बिजली बिलों में राहत, हर कदम पर किसानों के कल्याण के बारे में सोचा गया है। इसी सोच के तहत लैंड पूलिंग पॉलिसी 2025 भी बनाई गई, जिसका उद्देश्य किसानों को विकास में सीधा भागीदार बनाना, उनकी जमीन का मूल्य कई गुना बढ़ाना और उन्हें आधुनिक सुविधाओं से जोड़ना था।
किसानों में नीति को लेकर असहमति
लेकिन पंजाब सरकार का मानना है कि विकास तभी सार्थक है जब किसान उससे खुश और संतुष्ट हों। अगर किसी नीति को लेकर किसानों में असहमति है, तो उसे जबरन लागू करना जनहित और लोकतंत्र के सिद्धांतों के खिलाफ है। इसी वजह से मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में सरकार ने किसानों की राय को सर्वोच्च प्राथमिकता मानते हुए लैंड पूलिंग पॉलिसी को वापस लेने का बड़ा और ऐतिहासिक फैसला लिया।
यह कदम साबित करता है कि पंजाब सरकार के लिए किसान सिर्फ़ मतदाता नहीं, बल्कि उनके परिवार का हिस्सा हैं। जब परिवार का कोई सदस्य असंतुष्ट हो, तो उसकी बात सुनना और उसका फ़ैसला बदलना ही सच्ची सेवा और संवेदनशील नेतृत्व की पहचान है। सरकार ने दिखा दिया है कि वह ज़िद की नहीं, बल्कि विश्वास और साझेदारी की राजनीति करती है। इस फ़ैसले के पीछे एक स्पष्ट संदेश है, पंजाब का हर किसान आश्वस्त रहे कि उसकी ज़मीन, उसके हक़ और उसकी मेहनत की कमाई पूरी तरह सुरक्षित है।
पंजाबी सरकार हमेशा किसानों के साथ खड़ी है
सरकार किसानों की सहमति और भागीदारी के बिना कोई भी योजना लागू नहीं करेगी। यह सिर्फ़ नीतिगत बदलाव नहीं, बल्कि किसानों के साथ विश्वास, सम्मान और साझेदारी के रिश्ते को और मज़बूत करने का संकल्प है। पंजाब के हर किसान को यह भरोसा होना चाहिए कि उसकी ज़मीन, उसके अधिकार और उसकी मेहनत की कमाई पूरी तरह सुरक्षित है। यह सिर्फ़ नीतिगत वापसी नहीं, बल्कि किसानों के साथ सम्मान और विश्वास के रिश्ते को और मज़बूत करने का संकल्प है। मान सरकार ने एक बार फिर साबित कर दिया है कि वह पंजाबी संस्कृति की असली पहचान, मिट्टी, मेहनत और सम्मान की रक्षा के लिए हमेशा किसानों के साथ खड़ी है। किसानों की खुशहाली ही पंजाब की खुशहाली है और यही मान सरकार का सबसे बड़ा लक्ष्य है।
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